मैं पगला दीवाना था।जो तुमसे प्यार कर बैठा।
तेरे सभी झूठे वादों पर आयेतबर कर बैठा।
ना जाने क्यों तेरे झूठे वादों में भी सच्चाई दिखती थी..।
तेरे हर बातो मे अच्छाई दिखती थी।
में पागल दीवाना था। जो तुमसे प्यार कर बैठा।
मानो बहाने ही तलास रही थी। तू कई आर्शो से
तु कह देती मुझे एक बार की मुझे तेरी जरूरत नही ।
में खुद इतनa दूर चला जाता तुमसे की तुम्हे मेरी परछाई भी नजर नही आती।..
लेकिन यू मेरे प्यार का मजाक क्यू बनाया तूने ।
तुम तो मसरूफ हो गए जिंदगी में अपनी..
तुम्हे तो मेरी याद भी नही आए। ..
पर में तो आज भी तेरे लिए ही ऑलनाइन आता हूं और तुम्हारे ही SMS का इंतजार करता रहता हूं।
जब तेरी जुदाई का वो दिन याद आता है
तो में टूट जाता हूं।
एक वक्त था जब में तेरी बाते करता थी। तुमसे मिलने के लिए बेताब रहता था।
लेकिन अब तो अकेले जीने की आदत सी पड़ गए हैं। लेकिन इन अकेले पान में भी तुम्हारी याद साथ नही छोड़ रही है।
The end
खुस में कैसे रह सकता हूं
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वो खत ही तो था। एक खत की दस्ता
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ये बारिश इश्क और तुम
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